बहन क्यों रोती हो? यह वाकया उस दिन का है जब खदेरन की शादी हुई थी और फुलमतिया जी की अपने मायके से विदाई हो रही थी। परंपरा के अनुसार सब कुछ हुआ, यहां तक की फुलमतिया जी विदाई के अवसर पर रोए भी जा रही थी। उनको रोते देख फुलमतिया जी का भाई चटोरन दीदी के पास गया और बोला, “दीदी क्यों रो रही हो? चुप हो जाओ?” और फिर उसने अपने जीजा खदेरन की ओर इशारा करके बोला, “आज से जीवन भर रोना तो इनको है!”
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क्या शादी के बाद पति रोते ? हा हा ...
जवाब देंहटाएंआग देख कर ही समझ लेना चाहिए तपिश क्या है..जलना जरुरी है क्या हीहीहीहीही
जवाब देंहटाएंnice
जवाब देंहटाएंहा हा!! बहना को सही समझाईश दी चटोरन ने.
जवाब देंहटाएंयह तो झटका है जो धीरे से लगा है.
जवाब देंहटाएंबहुत अच्छी प्रस्तुति।
जवाब देंहटाएंहिन्दी का प्रचार राष्ट्रीयता का प्रचार है।
खदेरन को शादी के बाद आपके चुटकुलों की सख्त जरूरत पड़ेगी !
जवाब देंहटाएंfulamatiya ji to sikha rahi hai ki rona kaise hai ha ha ha
जवाब देंहटाएंसत्य वचन ! हा... हा... हा... हा..... !!!!
जवाब देंहटाएंहा हा!हा हा!! बहना को सही समझाईश दी चटोरन ने.
जवाब देंहटाएंaise bahut saaare rone wale ke comments aa chuke hain.........:D
जवाब देंहटाएंसही सलाह।
जवाब देंहटाएंहा हा हा ... लाजवाब ... क्या सच में ऐसा होता है ...
जवाब देंहटाएंहा हा हा ... लाजवाब !
जवाब देंहटाएंye bhi sahi salah hai.......Ji
जवाब देंहटाएंहा हा हा ... लाजवाब !!! सच में ऐसा ही होता है ...
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